सभी लेख P.K. Khurana
जब तक हम जागरूक नागरिक नहीं बनेंगे, हमारा शोषण होता रहेगा। नेता और अधिकारी, दोनों ही हमारा शोषण करते रहेंगे और हम व्यवस्था को दोष देते रहेंगे। हम चिढ़ेंगे, कुढ़ेंगे पर विरोध नहीं करेंगे। अव्यवस्था, गरीबा, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, कुप्रबंधन की चक्की में पिसते हुए ‘आह-आह’ करते रहेंगे।
सच तो यह है कि संसद में बहुमत होने पर एक ब्रिटिश अथवा भारतीय प्रधानमंत्री वह सब कर सकता है जो जर्मन सम्राट या अमरीकी राष्ट्रपति भी नहीं कर सकते। प्रधानमंत्री कानून बदल सकता है, टैक्स लगा सकता है, हटा सकता है और राज्य के सभी बलों को निर्देश दे सकता है। इसी पर थोड़े विस्तार में चर्चा-